‘‘आइडिएशन कार्यशाला का शुभारम्भ’’

‘‘आइडिएशन कार्यशाला का शुभारम्भ’’
कानोड़िया पी.जी. महिला महाविद्यालय, जयपुर में 15 सितम्बर 2025 को “स्कूल फॉर डेमोक्रेसी” एवं “टीम आइडिएशन” के संयुक्त तत्वावधान में दस दिवसीय कार्यशाला का शुभारंभ हुआ। उद्घाटन सत्र की शुरुआत “ग्लिम्प्सेस द पर्सनल इज़ पॉलिटिकल (आइडिएशन’24)” की प्रस्तुतियों से हुई, जिसमें पिछले वर्ष के बैच की झलकियाँ प्रदर्शित की गईं। कार्यक्रम में महाविद्यालय निदेशक डॉ. रश्मि चतुर्वेदी, महाविद्यालय प्राचार्य डॉ. सीमा अग्रवाल, प्रसिद्ध सामाजिक कार्यकर्ता डॉ. रेणुका पामेचा, सुश्री ममता जेतली एवं थिएटर कलाकार व निदेशक हर्षवर्धन चतुर्वेदी उपस्थित रहे। प्राचार्या डॉ. सीमा अग्रवाल ने स्वागत भाषण के पश्चात “वूमेन इन फाइनेंशियल लिटरेसी” विषय पर व्याख्यान दिया। उन्होंने कहा कि वित्तीय साक्षरता आज के समय में महिला सशक्तिकरण की सबसे मजबूत नींव है। यदि महिलाएँ बचत और निवेश के महत्व को समझें तो वे आत्मनिर्भर बन सकती हैं और समाज में प्रभावशाली भूमिका निभा सकती हैं। उन्होंने सेविंग अकाउंट, फिक्स्ड डिपॉज़िट तथा स्मॉल सेविंग का उदाहरण देकर बताया कि हमें खुद तय करना होगा कि हम क्या करना चाहते हैं और अपनी आवाज़ को सही दिशा देनी होगी। प्रसिद्ध सामाजिक कार्यकर्ता सुश्री ममता जैतली ने “वूमेन इन एक्टिविज़्म” विषय पर वक्तव्य देते हुए कहा कि महिलाओं को अपने लिए खड़ा होना होगा, कोई और उनके अधिकारों के लिए नहीं लड़ेगा। उन्होंने मीराबाई के जीवन का उदाहरण देते हुए बताया कि महिला भी समाज में बदलाव की वाहक बन सकती है। उन्होंने न्यूनतम मजदूरी आंदोलन, सामूहिक संवाद की ताकत और गीतों के माध्यम से महिलाओं की पीड़ा एवं संघर्ष की कहानियाँ साझा की। सामाजिक कार्यकर्ता डॉ. रेणुका पामेचा ने “वूमेन एंड पैट्रिआर्की” विषय पर विस्तृत चर्चा करते हुए कहा कि पितृसत्तात्मक सोच समाज में असमानता की सबसे बड़ी जड़ है। उन्होंने संविधान द्वारा प्रदत्त सामाजिक, आर्थिक और राजनीतिक स्वतंत्रता का उल्लेख करते हुए कहा कि समानता के बिना न्याय संभव नहीं है। महाविद्यालय की निदेशक डॉ. रश्मि चतुर्वेदी ने “आइडिएशन इन अ नटशेल” विषय पर कार्यशाला की अवधारणा और उद्देश्यों की जानकारी दी तथा महाविद्यालय के 60 वर्षों के योगदान को रेखांकित किया। कार्यक्रम का संचालन डॉ. मोहिता चतुर्वेदी शर्मा एवं डॉ. प्रीति शर्मा द्वारा किया गया। धन्यवाद ज्ञापन डॉ. रिचा चतुर्वेदी द्वारा दिया गया। इस उद्घाटन सत्र में 100 छात्राऐं उपस्थित रहीं।