‘अनुसंधान की कला, समस्या को परिभाषित करना और साहित्य की खोज’

दिनांक 20 सितंबर, 2023 कनोड़िया पी. जी. महिला महाविद्यालय, जयपुर केे सेंटर ऑफ रिसर्च एंड डेवलपमेंट ने ‘अनुसंधान की कला, समस्या को परिभाषित करना और साहित्य की खोज’ विषय पर अंतः संवाद का आयोजन किया। इस संवाद का उद्देश्य छात्राओं के बीच अनुसंधान योग्यता और रुचि को बढ़ाना है। उप-प्राचार्य (विज्ञान) डॉ. रंजना अग्रवाल ने संवाद के वक्ता दिव्यांग शर्मा, जीवन सुतार के संस्थापक का स्वागत किया। वक्ता दिव्यांग शर्मा ने छात्राओं को शोध कार्य के लिए शोध समस्या या विषय की पहचान कैसे करें, इस पर विस्तार से बताया। साहित्य की समीक्षा शोध विषय के निर्माण का प्रमुख तत्व है। साहित्य की समीक्षा से विषय, अनुसंधान में उपयोग किए जाने वाले उपकरणों और अनुसंधान की पद्धति को समझने में मदद मिलती है। इससे अनुसंधान प्रयोग की रूपरेखा तैयार करने में भी मदद मिलेगी। संवाद में लगभग 80 छात्राओं ने भाग लिया। इस संवाद में महाविद्यालय प्राचार्य डॉ. सीमा अग्रवाल सहित अन्य शिक्षिकायें भी उपस्थित रहीं। दिव्यांग शर्मा ने छात्राओें की समस्याओं और बाधाओं को दूर करने का प्रयास किया, जिनका उन्हें अपने शोध कार्य में सामना करना पड़ रहा है। केंद्र संयोजक डॉ. ऋतु जैन ने धन्यवाद ज्ञापित किया। यह सत्र छात्राओं के लिए बहुत उपयोगी रहा। इससे भविष्य में उनके शोध कार्य को बेहतर बनाने में मदद मिलेगी ।